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भारतीय विद्यार्थियों पर हमलों को रोकने के लिए ‘कड़ी मेहनत’ कर रहा बाइडन प्रशासन : व्हाइट हाउस

सिंगापुर पुलिस इजराइल-हमास संघर्ष पर विरोध-प्रदर्शनों को अनुमति नहीं देने पर अडिग

भारतीय विद्यार्थियों पर हमलों को रोकने के लिए 'कड़ी मेहनत' कर रहा बाइडन प्रशासन : व्हाइट हाउस

अमेरिकी सदन ने क्वाड विधेयक पारित किया

सिंगापुर
सिंगापुर बोटेनिक गार्डन में सप्ताहांत पर मार्च निकालने के ऑनलाइन आह्वान के बीच सिंगापुर पुलिस बल (एसपीएफ) इजराइल-हमास युद्ध से संबंधित विरोध-प्रदर्शनों को अनुमति नहीं देने के अपने रुख पर कायम है।

सिंगापुर बोटेनिक गार्डन, ब्रिटेन और अमेरिका दूतावास के निकट एक विशाल पार्क है, जहां अधिकतर राजनयिक सम्मेलन आयोजित किये जाते हैं।

पुलिस ने  बताया कि वह इजराइल-हमास संघर्ष पर ‘वॉक-आउट सिंगापुर’ नाम के एक कार्यक्रम के लिए सोशल मीडिया पर चलाए जा रहे अभियान से भली भांति वाकिफ है।

एसपीएफ ने बताया कि पुलिस ने आयोजक से संपर्क किया और इस मामले पर उसे नसीहत दी गयी है।

चैनल न्यूज एशिया ने एसपीएफ के हवाले से एक खबर में बताया, ''इस तरह के आयोजनों के लिए पुलिस की मंजूरी की आवश्यकता होती है।''

पुलिस ने कहा कि इस तरह के कार्यक्रमों का आयोजन एक अपराध है।

इस सप्ताह की शुरुआत में अधिकारियों ने बताया था कि उन्हें ‘सिंगापुर एयरशो’ में इजराइल के खिलाफ विरोध प्रदर्शन के आह्वान के बारे में जानकारी है और उन्होंने चेतावनी जारी कर कहा कि बिना मंजूरी के इस तरह की सार्वजनिक सभा या जुलूस का आयोजन या उसमें भाग लेना गैरकानूनी है।

सिंगापुर में अगले  होने वाले छह दिवसीय एयर शो में इजराइली रक्षा दल हिस्सा ले रहा है।

भारतीय विद्यार्थियों पर हमलों को रोकने के लिए 'कड़ी मेहनत' कर रहा बाइडन प्रशासन : व्हाइट हाउस

वाशिंगटन
 अमेरिका के राष्ट्रपति जो बाइडन और उनका प्रशासन भारतीयों व भारतीय अमेरिकी विद्यार्थियों पर हमलों को रोकने के लिए कड़ी मेहनत कर रहा है। व्हाइट हाउस ने यह जानकारी दी।

देश के अलग-अलग हिस्सों में भारतीयों व भारतीय अमेरिकी विद्यार्थियों पर लगातार हमलों के बीच व्हाइट हाउस में राष्ट्रीय सुरक्षा परिषद में रणनीतिक संचार के समन्वयक जॉन किर्बी ने यह बात कही।

भारतीय छात्रों और भारतीय अमेरिकी समुदाय के लोगों पर सिलसिलेवार हमलों के बारे में पूछे जाने पर किर्बी ने संवाददाताओं से कहा, ''जाति, लैंगिक आधार, धर्म या फिर किसी भी कारण से हिंसा के लिए कोई तर्क नहीं है। अमेरिका में इसे स्वीकार नहीं किया जा सकता।''

किर्बी ने कहा, ''राष्ट्रपति और उनका प्रशासन बेहद कड़ी मेहनत कर रहा है। इस तरह के हमलों को रोकने के लिए राज्य व स्थानीय अधिकारियों के साथ मिलकर हर संभव कोशिश की जा रही है…।''

पिछले कुछ सप्ताह में कम से कम चार भारतीय अमेरिकी विद्यार्थियों की मौत की घटनाएं सामने आ चुकी हैं।

अमेरिकी सदन ने क्वाड विधेयक पारित किया

वाशिंगटन
अमेरिका की प्रतिनिधि सभा ने क्वाड विधेयक पारित कर दिया है जिसमें अमेरिका, ऑस्ट्रेलिया, भारत और जापान के बीच घनिष्ठ सहयोग के वास्ते राष्ट्रपति जो बाइडन के प्रशासन को एक 'क्वाड अंतर-संसदीय कार्य समूह' स्थापित करने के निर्देश दिए गए हैं।

विधेयक 39 के मुकाबले 379 वोट से पारित हुआ। 'मजबूत अमेरिका-ऑस्ट्रेलिया-भारत-जापान सहयोग' या चतुष्पक्षीय सुरक्षा संवाद (क्वाड) विधेयक में अमेरिका, ऑस्ट्रेलिया, भारत और जापान के बीच संयुक्त सहयोग को मजबूत करने की बात कही गई है।

इसमें विदेश मंत्रालय को निर्देश दिया गया है कि वह विधेयक के अधिनियमित होने के 180 दिन के भीतर क्वाड के साथ कामकाज और सहयोग बढ़ाने की रणनीति कांग्रेस को प्रस्तुत करे और इसके अधिनियमन के 60 दिन के भीतर क्वाड अंतर-संसदीय कार्य समूह के गठन के लिए जापान, ऑस्ट्रेलिया और भारत के साथ बातचीत करे।

कार्य समूह में अमेरिका का प्रतिनिधित्व करने के लिए एक अमेरिकी समूह की भी स्थापना होगी जिसमें कांग्रेस के अधिकतम 24 सदस्य होंगे। यह वार्षिक बैठकों और समूह नेतृत्व के लिए दिशानिर्देश भी तय करेगा। विधेयक में कहा गया है कि इस समूह को कांग्रेस की विदेश मामलों की समितियों को एक वार्षिक रिपोर्ट प्रस्तुत करनी होगी।

डेमोक्रेटिक पार्टी के दो सांसदों ने विधेयक के विरोध में मतदान किया। उनमें से एक मिनियापोलिस से कांग्रेस महिला इल्हान उमर हैं।

सांसद ग्रेगरी मीक्स द्वारा पेश किए गए इस विधेयक में कहा गया है कि विदेश मंत्रालय को क्वाड के साथ कामकाज और सहयोग को मजबूत करने की रणनीति के बारे में भी कांग्रेस को जानकारी देनी होगी।

प्रतिनिधि सभा की विदेश मामलों की समिति के वरिष्ठ सदस्य मीक्स ने कहा कि अमेरिका, जापान, ऑस्ट्रेलिया और भारत के बीच चतुष्पक्षीय सुरक्षा वार्ता एक स्वतंत्र और खुले हिंद-प्रशांत क्षेत्र को बढ़ावा देने और क्षेत्र में अमेरिकी हितों को आगे बढ़ाने के लिए जरूरी है।

 

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