डेढ़ लाख रुपये खर्च कर पिता ने 50 दिन में बनाए बिटिया के 36 दस्तावेज, कलेक्टर ने किया सम्मनित
छिंदवाड़ा
छिंदवाड़ा में आबकारी विभाग में पदस्थ मनीष बंदेवार ने महज 50 दिन के भीतर अपनी बिटिया के 36 सरकारी दस्तावेज बनाकर एक वर्ल्ड रिकॉर्ड कायम किया है। आपको जानकर आश्चर्य होगा कि मनीष किस उपलब्धि के चलते उन्हें वर्ल्ड बुक ऑफ रिकॉर्ड में स्थान मिला है। उन्होंने अपनी बिटिया समृद्धि के 50 दिन में 36 सरकारी दस्तावेज बनाते हुए वर्ल्ड बुक में नाम दर्ज कराया। ये दूसरा मौका है, जब छिंदवाड़ा की कम उम्र की बिटिया के नाम ये खिताब आया है।
छिंदवाड़ा आबकारी विभाग में सहायक ग्रेड-3 के पद पर कार्यरत मनीष बंदेवार के घर पिछले दिनों बिटिया का जन्म हुआ। परिवार में चार दशक बाद तीन बहन के बीच पहली पुत्री के जन्म की खुशियां पिता ने 36 सरकारी दस्तावेजों को 50 दिन में बनाकर मनाई। वर्ल्ड में ये पहली उपलब्धि है, जब किसी पिता ने महज 50 दिन ये सभी आवश्यक दस्तावेज इतने कम समय में बनाकर वर्ल्ड बुक में नाम दर्ज कराया।
कलेक्टर ने किया सम्मनित
मनीष बंदेवार ने बताया कि ऐसा करके मेरा उद्देश्य है कि हमारे समाज में पालकगण अपने पुत्र-पुत्री के सभी दस्तावेजों को बनाने में लापरवाही न बरतें। समय पर सभी दस्तावेजों को बनाकर अपनी जागरूकता का परिचय दें, ताकि बच्चों को भविष्य में परेशानी का सामना न करना पड़े। मनीष की इस उपलब्धि पर गुरुवार को कलेक्टर मनोज पुष्प ने भी सम्मानित किया।
डेढ़ लाख रुपये खर्च कर 50 दिन में बनाए गए ये 36 दस्तावेज
मनीष बंदेवार बिटिया के जन्म के बाद से अपना सात वर्ष पुराना सपने को साकार करने में जुट गए थे। उनके इस अपने को साकार करने में उनके मित्र मोहित सूर्यवंशी और आंगनबाड़ी कार्यकर्ता ने काफी मदद की थी। दरअसल मनीष बंदेवार के यहां सात वर्ष पहले बेटे शिवाय का जन्म हुआ था, तब से ही उनके मन में था कि बच्चे का रिकार्ड समय से अधिकांश दस्तावेज बनाकर वर्ल्ड रिकार्ड में नाम दर्ज करवाया जाए, लेकिन मेल बेबी की अपेक्षा फीमेल बेबी के योजनाएं ज्यादा होने की वजह से उनके सामने चुनौती थी। इससे पहले छिंदवाड़ा निवासी केसरी सूर्यवंशी ने अपनी बिटिया शरण्या के 72 दिनों में 31 दस्तावेज तैयार किए थे। तभी से उन्होंने सपना संजों लिया था कि बेटी हुई तो मौजूदा रिकार्ड को ब्रेक कर बिटिया के ज्यादा दस्तावेज बनाऊंगा।
मनीष तरजलाल बंदेवार के घर 26 सितंबर 2023 को बिटिया का जन्म हुआ तो उन्होंने परिवार में चार दशक बाद बिटिया आने पर जमकर खुशियां मनाई और अपने मिशन में जुट गए। उनको इस काम के लिए उनकी पत्नी, मां, दोस्त मोहित सूर्यवंशी और आंगनबाड़ी समय-समय पर याद दिलाते रहे। मनीष बंदेवार आबकारी विभाग क्लर्क के पद पर पदस्थ हैं। ऑफिस टाइम का मैनेज कर इस मिशन में लग गए प्रतिदिन ऑफिस से लौटते समय समंधित दस्तावेज की जानकारी जुटाते और फार्म लेकर देर रात तक दस्तावेज भरकर दूसरे दिन ऑफिस से पहले जमा करते थे। इसी दिनचर्या के साथ उन्होंने 50दिन के अंदर बिटिया के 36दस्तावेज बनवा लिए।
डेढ़ माह की बिटिया के बने 36 सरकारी दस्तावेज
टीकाकरण कार्ड
जन्म प्रमाण-पत्र
आधार कार्ड
समग्र सदस्य कार्ड
ग्रीन कार्ड
लाड़ली लक्ष्मी योजना
पेन कार्ड
पासपोर्ट
आयुष्मान भारत स्वास्थ्य खाता
स्थानीय निवासी प्रमाण-पत्र
स्थायी जाति प्रमाण-पत्र (केन्द्र)
स्थायी जाति प्रमाण-पत्र (राज्य)
डिजिलॉकर खाता
पोस्ट ऑफिस बचत खाता
आर.डी. खाता
सुकन्या समृद्धि योजना खाता
एम.आई.एस.
एक वर्षीय टर्म डिपोजिट
दो वर्षीय टर्म डिपोजिट
तीन वर्षीय टर्म डिपोजिट
पांच वर्षीय टर्म डिपोजिट
एन.एस.सी.
किसान विकास पत्र
महिला सम्मान बचत पत्र
पी.पी.एफ.
फिलाटेलिक डिपोजिट खाता
माय स्टाम्प
सेन्ट्रल बैंक ऑफ इण्डिया बचत खाता
सेन्ट्रल बैंक ऑफ इण्डिया चेक बुक
स्टेट बैंक ऑफ इण्डिया बचत खाता
स्टेट बैंक ऑफ इण्डिया चेक बुक
स्टेट बैंक ऑफ इण्डिया ए.टी.एम.
यूनियन बैंक ऑफ इण्डिया बचत खाता
एल.आई.सी. एजुकेशन प्लान
एल.आई.सी. कन्यादान प्लान
निप्पॉन इण्डिया म्यूचुअल फण्ड