मनु भाकर नहीं जीत सकीं तीसरा मेडल.. शूटऑफ में चूकीं, 25 मीटर पिस्टल में मिली चौथी पोजीशन
पेरिस
पेरिस ओलिंपिक में भारत को 2 मेडल दिला चुकी स्टार शूटर मनु भाकर तीसरे मेडल से चूक गई हैं। वे 25 मीटर विमेंस पिस्टल इवेंट में चौथे स्थान पर रहीं। तीसरे स्थान के लिए हुए शूटऑफ में उनके 3 निशाने चूक गए। उनका मुकाबला हंगरी की मेजर वेरोनिका से था।
फाइनल में मनु ने 28 पॉइंट्स स्कोर किए, जबकि ब्रॉन्ज मेडलिस्ट हंगरी की मेजर वेरोनिका ने 31 स्कोर किए। कोरियाई शूटर यंग जीन ने 37 अंक के साथ गोल्ड मेडल जीता।
फ्रांस की कैमिली को सिल्वर मिला। उन्होंने भी 37 पॉइंट्स हासिल किए, लेकिन वे गोल्ड के लिए शूट ऑफ में टारगेट पर एक निशाना ही लगा सकीं।
22 साल की मनु 10 मीटर पिस्टल और 10 मीटर पिस्टल मिक्स्ड इवेंट में एक-एक ब्रॉन्ज जीत चुकी हैं। मनु के अलावा, आज अनुभवी तीरंदाज दीपिका कुमारी, भजन कौर और मुक्केबाज निशांत देव भी भारतीय चुनौती पेश करेंगे।
कुल मिलाकर जो मनु ने किया, उसने भारतवासियों का दिल जीत लिया. मनु ने वूमेन्स 25 मीटर पिस्टल के फाइनल के बाद कहा इस इवेंट को लेकर प्रेशर था. उन्होंने यह भी कहा कि वह पेरिस ओलंपिक के दौरान वह सोशल मीडिया से दूरी बनाई थी, ऐसे में बाहर क्या चल रहा था. उन्हें इस बात की कोई जानकारी नहीं है. मनु ने कहा कि अब यहां से वह आने वाले अगले इवेंट की तैयारी में जुटेंगी. इस दौरान उन्होंने फैन्स और परिवार के प्रति आभार जताया. वहीं मनु ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से हुई बात को भी यादगार बताया.
मैच के बाद मनु भाकर की मां डॉ सुमेधा भाकर ने कहा कि वह मेडल से चूक गईं, लेकिन उन्हें उस पर बेहद गर्व है, मैं उसका पलकें बिछाकर इंतजार कर रही हूं. मनु की मां ने कहा वह लास्ट तक लड़ती रही. वहीं मनु के पिता रामकृष्ण भाकर ने कहा कि खेल में हार जीत तो लगी रहती है, उसने शानदार प्रदर्शन किया.
मनु ने इन दो इवेंट में बनाया था रिकॉर्ड
इससे पहले मनु भाकर ने व्यक्तिगत 10 मीटर एयर पिस्टल में कांस्य पदक जीतने के बाद सरबजोत सिंह के साथ मिलकर मिश्रित टीम वर्ग में भी कांस्य पदक जीता. वह एक ही ओलंपिक में दो पदक जीतने वाली पहली भारतीय बनीं थी. जो अपने आप में एक रिकॉर्ड है.
मनु से पहले केवल नॉर्मन प्रिचार्ड ने किया ऐसा
मनु भाकर से पहले ब्रिटिश मूल के भारतीय खिलाड़ी नॉर्मन प्रिचार्ड ने 1900 ओलंपिक में 200 मीटर फर्राटा और 200 मीटर बाधा दौड़ में रजत पदक जीते थे, लेकिन वह उपलब्धि आजादी से पहले की थी.
शूटिंंग में आए हैं 3 मेडल
देखा जाए तो पहली बार किसी भारतीय शूटर ने ओलंपिक की 50 मीटर राइफल थ्री पोजीशन स्पर्धा में पदक जीता है. भारत का मौजूदा ओलंपिक खेलों में ये तीसरा मेडल रहा. इससे पहले भारत के पिछले दो मेडल भी शूटिंग में आए थे. यानी पहली बार शूटिंग में भारत ने किसी ओलंपिक सीजन में तीन मेडल हासिल किए.
शूटिंग में भारत के पदकवीर (ओलंपिक)
1. राज्यवर्धन सिंह राठौड़
रजत पदक: एथेंस (2004)
2. अभिनव बिंद्रा
स्वर्ण पदक, बीजिंग ओलंपिक (2008)
3. गगन नारंग
कांस्य पदक: लंदन ओलंपिक (2012)
4. विजय कुमार
रजत पदक: लंदन ओलंपिक (2012)
5. मनु भाकर
कांस्य पदक: पेरिस ओलंपिक (2024)
6.मनु भाकर- सरबजोत सिंह
कांस्य पदक: पेरिस ओलंपिक (2024)
7.स्वप्निल कुसाले
कांस्य पदक: पेरिस ओलंपिक (2024)
भारत के ओलंपिक मेडलिस्ट की पूरी लिस्ट, जानें कौन, कब बना विजेता
एथलीट/खेल | मेडल | इवेंट | ओलंपिक सीजन |
नॉर्मन प्रिचर्ड* | सिल्वर | पुरुषों की 200 मीटर रेस | पेरिस 1900 |
नॉर्मन प्रिचर्ड** | सिल्वर | पुरुषों का 200 मीटर बाधा दौड़ (हर्डल रेस) | पेरिस 1900 |
भारतीय हॉकी टीम | गोल्ड | पुरुष हॉकी | एम्स्टर्डम 1928 |
भारतीय हॉकी टीम | गोल्ड | पुरुष हॉकी | लॉस एंजिल्स 1932 |
भारतीय हॉकी टीम | गोल्ड | पुरुष हॉकी | बर्लिन 1936 |
भारतीय हॉकी टीम | गोल्ड | पुरुष हॉकी | लंदन 1948 |
भारतीय हॉकी टीम | गोल्ड | पुरुष हॉकी | हेल्सिंकी 1952 |
भारतीय हॉकी टीम | गोल्ड | पुरुष हॉकी | मेलबर्न 1956 |
केडी जाधव | ब्रॉन्ज | पुरुषों की बेंटमवेट कुश्ती | हेल्सिंकी 1952 |
भारतीय हॉकी टीम | सिल्वर | पुरुष हॉकी | रोम 1960 |
भारतीय हॉकी टीम | गोल्ड | पुरुष हॉकी | टोक्यो 1964 |
भारतीय हॉकी टीम | ब्रॉन्ज | पुरुष हॉकी | मेक्सिको सिटी 1968 |
भारतीय हॉकी टीम | ब्रॉन्ज | पुरुष हॉकी | म्यूनिख 1972 |
भारतीय हॉकी टीम | गोल्ड | पुरुष हॉकी | मास्को 1980 |
लिएंडर पेस | ब्रॉन्ज | पुरुष एकल टेनिस | अटलांटा 1996 |
कर्णम मल्लेश्वरी | ब्रॉन्ज | भारोत्तोलन (महिलाओं का 54 किग्रा | सिडनी 2000 |
राज्यवर्धन सिंह राठौड़ | सिल्वर | पुरुषों की डबल ट्रैप शूटिंग | एथेंस 2004 |
अभिनव बिंद्रा | गोल्ड | पुरुषों की 10 मीटर एयर राइफल शूटिंग | बीजिंग 2008 |
विजेंदर सिंह | ब्रॉन्ज | पुरुषों की मिडिलवेट बॉक्सिंग (मुक्केबाजी) | बीजिंग 2008 |
सुशील कुमार | ब्रॉन्ज | पुरुषों की 66 किग्रा कुश्ती | बीजिंग 2008 |
सुशील कुमार | सिल्वर | पुरुषों की 66 किग्रा कुश्ती | लंदन 2012 |
विजय कुमार | सिल्वर | पुरुषों की 25 मीटर रैपिड पिस्टल शूटिंग | लंदन 2012 |
साइना नेहवाल | ब्रॉन्ज | महिला एकल बैडमिंटन | लंदन 2012 |
मैरी कॉम | ब्रॉन्ज | महिला फ्लाइवेट मुक्केबाजी | लंदन 2012 |
योगेश्वर दत्त | ब्रॉन्ज | पुरुष 60 किग्रा कुश्ती | लंदन 2012 |
गगन नारंग | ब्रॉन्ज | 10 मीटर एयर राइफल शूटिंग | लंदन 2012 |
पीवी सिंधु | सिल्वर | महिला एकल बैडमिंटन | रियो 2016 |
साक्षी मलिक | ब्रॉन्ज | महिला 58 किग्रा कुश्ती | रियो 2016 |
मीराबाई चानू | सिल्वर | महिला 49 किग्रा भारोत्तोलन (वेटलिफ्टिंग) | टोक्यो 2020 |
लवलीना बोरगोहेन | ब्रॉन्ज | महिला वेल्टरवेट बॉक्सिंंग (64-69 किग्रा) | टोक्यो 2020 |
पीवी सिंधु | ब्रॉन्ज | महिला एकल बैडमिंटन | टोक्यो 2020 |
रवि कुमार दहिया | सिल्वर | पुरुष फ्रीस्टाइल 57 किग्रा कुश्ती | टोक्यो 2020 |
भारतीय हॉकी टीम | ब्रॉन्ज | पुरुष हॉकी | टोक्यो 2020 |
बजरंग पुनिया | ब्रॉन्ज | पुरुष 65 किग्रा कुश्ती | टोक्यो 2020 |
नीरज चोपड़ा | गोल्ड | पुरुषों का भाला फेंक (जेवलिन थ्रो) | टोक्यो 2020 |
मनु भाकर | ब्रॉन्ज | वूमेन्स 10 मीटर एयर पिस्टल | पेरिस 2024 |
मनु भाकर-सरबजोत सिंह | ब्रॉन्ज | 10 मीटर एयर पिस्टल मिक्स्ड टीम | पेरिस 2024 |
स्वप्निल कुसाले | ब्रॉन्ज | 50 मीटर राइफल थ्री पोजीशन | पेरिस 2024 |
*** नोट: नॉर्मन प्रिचर्ड ने ब्रिटिश झंडे के तहत भारत की ओर से भाग लिया था, वह एक ब्रिटिश मूल के खिलाड़ी थे.