मध्यप्रदेश

प्रदेश में मंत्रियों के बंगलों में साज-सज्जा और नए निर्माण के लिए अब अनुमति जरूरी

भोपाल

मध्य प्रदेश सरकार ने खर्चों में कटौती के बाद अब कई योजनाओं में भुगतान को लेकर शर्तें लगा दी हैं। वित्त विभाग की तरफ से वित्तीय वर्ष 2024-2025 की शेष अवधि के लिए बजट आवंटन एवं व्यय की कार्ययोजना के संबंध में दिशा निर्देश जारी किए गए। इसमें राम वन गमन पथ, मंत्रियों के आवास के साज-सज्जा समेत 127 योजनाओं के भुगतान को लेकर वित्त विभाग से अनुमति लेना अनिवार्य कर दिया है। संचालक बजट की तरफ से विभागों को जारी आदेश में वित्त विभाग की तरफ से समय समय पर जारी आदेश को पालन करने की बात कही गई है। साथ ही इसमें कहा गया है कि यदि किसी योजना में बजट के बचत की संभावना हो तो उसकी जानकारी 15 जनवरी तक बताने को कहा गया है, ताकि दूसरी योजना में उसका उपयोग किया जा सके। साथ ही आदेश में कहा गया है कि आरक्षित निधियों के भुगतान की कार्रवाई वित्त विभाग की अनुमति के बाद ही की जाना सुनिश्चित किया जाए।

मंत्रियों के बंगलों में साज-सज्जा और नए निर्माण के लिए अनुमति जरूरी
वित्त विभाग के आदेश के अनुसार के अनुसार राम वन गमन पथ अचल विकास योजना, मंत्रियों के बंगलों की साज सज्ज, तीर्थ यात्रा योजना, ग्रामीण परिवहन नीति क्रियान्वयन, नए मेडिकल कॉले और नर्सिंग कॉलेज का निर्माण, मुख्यमंत्री ऋण समाधान योजना, मुख्यमंत्री स्कूल शिक्षा स्कूटी योजना, पीएम आवास योजना, मुख्यमंत्री लाड़ली बहना आवास योजना, कायाकल्य अभियान, अमृत 2.0 जीआईएस बेस्ड मास्टर प्लान, उद्योग निवेश संवर्धन सहायता योजना,किसानों से फसल उपार्जन पर बोनस का भुगतान, मुख्यमंत्री कृषक फसल उपार्जन सहायता योजना, प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना, नए नर्सिंग कॉलेज का निर्माण, डॉ टंट्या भील मंदिर का जीर्णोद्धार, राजा संग्राम सिंह पुरस्कार योजना, पीएम जनमन, लाड़ली लक्ष्मी योजना, महिलाओं के लिए रोजगार मूलक आर्थिक सहायता योजना समेत 46 विभाग की 127 से ज्यादा योजनाओं के भुगतान से पहले वित्त विभाग की अनुमति लेना अनिवार्य होगा।

 

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