मध्यप्रदेश

पौधे लगाने के लिए काट दिए सात साल पुराने पेड़, जाने क्या बोले मंत्री-अधिकारी

इंदौर

इंदौर में 51 लाख पौधे लगाने के लिए सरकार और प्रशासन ने कई स्तर पर अभियान शुरू किया है। इसमें इंदौर में जगह तलाशी जा रही है और गड्ढे करवाए जा रहे हैं। इसी के तहत इंदौर के रामबाग  में भी पौधरोपण कार्यक्रम होना है। यहां पर पौधे लगाने के लिए निगम के अधिकारियों और भाजपा के नेताओं ने पेड़ काटकर जमीन समतल कर दी और पौधरोपण की तैयारी की जा रही है। अमर उजाला ने जब शहर के प्रमुख नेताओं और अधिकारियों से बात की तो उनका कहना था कि उन्हें इस मामले की कोई जानकारी नहीं है। सभी ने जांच के बाद कड़ी कार्रवाई की बात कही है।

क्या हुआ लोखंडे ब्रिज पर
रामबाग में लोखंडे ब्रिज के पास कान्ह नदी की जमीन पर पार्षद सुरेश टाकलकर पौधरोपण कार्यक्रम की तैयारी कर रहे हैं। नगर निगम के अधिकारी भी यहां पर कार्यक्रम की तैयारी में दिनरात जुटे हैं। निगम के अधिकारियों और जनप्रतिनिधियों के द्वारा यहां पर 100 से अधिक पेड़ों पर कुल्हाड़ी चला दी और जेसीबी और क्रेन की मदद से जमीन को समतल करके उसे पौधरोपण के इवेंट के लिए वहीं गड्ढे करवा दिए गए हैं।

51 लाख पौधे लगाने के लिए नहीं मिल रही जमीन
जोन अध्यक्ष गजानंद गावड़े और सुरेश टाकलकर पौधरोपण का इवेंट आयोजित करवा रहे हैं। बता दें, इंदौर में एक दिन में 51 लाख पौधे लगाने का कार्यक्रम होने वाला है। अधिकारियों को उसके लिए जमीन नहीं मिल रही है। पौधरोपण करने के लिए पिछले सप्ताह अधिकारियों ने इंदौर के पास आशापुर गांव में सरकारी जमीन पर खेती कर रहे परिवार को बेदखल करने की कोशिश की, लेकिन जब प्रभावित किसानों ने पेड़ पर चढ़कर फंदा लगाने का प्रयास किया, तब अधिकारियों ने वहां पौधरोपण रोका। इसके बाद अब इंदौर में कान्ह नदी के आसपास लगे पेड़ों को काटकर पौधरोपण करने की तैयारी की जा रही है।

पौधों को सींचने के लिए दूर से लाते थे पानी
भाजपा के पूर्व पार्षद कमलेश नाचान ने बताया कि यहां पर पौधरोपण सात साल पहले से चल रहा है। हम लगातार यहां पर पौधे लगाते रहे अब ये पौधे बड़े हो गए थे और इन्हें काट दिया गया। लोखंडे ब्रिज के पास यूथ होस्टल और वाइल्ड वॉरियर्स संस्था ने पौधे लगाए थे। संस्था यूथ होस्टल के अशोक गोलाने ने बताया कि दो साल पहले हमने यहां पर बड़ी संख्या में पौधे लगाए थे। पौधों को सींचने के लिए हम बहुत दूर से पानी लाते थे। हमने बहुत मेहनत करके यहां पर पौधों को बड़ा किया था।

निगम के कर्मचारियों ने काटे, अब यहां अच्छी किस्म के पेड़ लगाएंगे
क्षेत्र के पार्षद गजानंद गावड़े और सुरेश टाकलकर से पेड़ों की कटाई के बारे में बात की गई तो उन्होंने कहा कि नगर निगम के अधिकारियों और कर्मचारियों ने इन पेड़ों को काटा है। ये जरूरी पेड़ नहीं थे। अब इनकी जगह नए अच्छी किस्म के पौधे लगाए जाएंगे। निगम अधिकारियों ने इन्हें काटा है तो कुछ सोचकर ही काटा होगा।  

मंत्री-अधिकारी बोले मामला जांच में लिया है, जल्द रिपोर्ट देंगे
पौधारोपण के लिए नदी किनारे पेड़ काटने की जानकारी मुझे मिली है। पुराने पेड़ों की देखभाल करना भी सभी की जिम्मेदारी है। इस तरह पेड़ काटना गलत है। इसकी जांच के लिए अफसरों को कहा है।
– कैलाश विजयवर्गीय, नगरीय प्रशासन मंत्री

सभी पेड़ समान होते हैं
नए पेड़ों के लिए पुराने पेड़ काटना सही नहीं है। सभी पेड़ सामन होते हैं। हरियाली बिखेरते हैं।
– तुलसी सिलावट, जल संसाधन मंत्री

मैंने मामला जांच में लिया है, जल्द रिपोर्ट आएगी
मैंने मामला जांच में लिया है। आपके माध्यम से ही मुझे इसकी जानकारी मिली। किसने पेड़ कटवाए हैं हम पता कर रहे हैं। जल्द इसकी रिपोर्ट ली जाएगी।
– शिवम गुप्ता, नगर निगम कमिश्नर

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