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मालदीव में उठ रही राष्ट्रपति मुइज्जू के खिलाफ अविश्वास प्रस्ताव की मांग, जाएगी सत्ता !

माले

सत्ता में आने के बाद से ही भारत विरोधी रुख अपनाने वाले मालदीव के राष्ट्रपति मोहम्मद मुइज्जू अब खुद ही बड़ी मुश्किल में फंसते दिख रहे हैं. वहां की मुख्य विपक्षी पार्टी मालदीव डेमोक्रेटिक पार्टी (MDP) मुइज्जू की सरकार के खिलाफ अविश्वास प्रस्ताव लाने की पूरी तैयारी कर चुकी है. MDP ने मुइज्जू सरकार के खिलाफ महाभियोग की कार्रवाई के लिए अविश्वास प्रस्ताव लाने की खातिर पर्याप्त सांसदों के हस्ताक्षर जमा कर लिए हैं. संभावना है कि चीन समर्थक राष्ट्रपति के खिलाफ महाभियोग प्रस्ताव जल्द ही संसद में पेश किया जाएगा.

इस खबर के आने से पहले  मालदीव की संसद में अराजकता की स्थिति देखने की मिली थी. सांसदों ने मारपीट की और मुइज्जू के कैबिनेट मंत्रियों के लिए संसदीय मंजूरी लेने के लिए बुलाए गए विशेष सत्र को बाधित कर दिया.

इस दौरान पीपुल्स नेशनल कांग्रेस (पीएनसी) और प्रोग्रेसिव पार्टी ऑफ मालदीव (पीपीएम) वाले सत्तारूढ़ गठबंधन के सांसद एमडीपी के सांसदों से भिड़ गए.

सोशल मीडिया पर वायरल सांसदों के मारपीट का वीडियो

सोशल मीडिया पर वायरल वीडियो में सांसद स्पीकर की कुर्सी के पास इकट्ठा होते और मारपीट करते नजर आ रहे हैं. कांदिथीमू के सांसद अब्दुल्ला हकीम शाहीम और केंधिकुलहुधू के सांसद अहमद ईसा के बीच खूब विवाद हुआ और लड़ाई-झगड़े में दोनों सांसद कक्ष के पास गिर गए. गिरने से शाहीम के सिर पर चोट लग गई.

संसद में हिंसा तब शुरू हुई जब एमडीपी ने मतदान से पहले मुइज्जू के मंत्रिमंडल के चार सांसदों के लिए संसदीय मंजूरी रोकने का फैसला किया. इसके बाद सरकार समर्थक सांसदों ने विरोध शुरू कर दिया, जिससे अराजकता की स्थिति आ गई.

इस हिंसा के बाद मालदीव के समाचार वेबसाइट Sun.mv ने अपनी एक रिपोर्ट में कहा है कि सत्तारूढ़ पीपीएम-पीएनसी गठबंधन ने संसद के अध्यक्ष मोहम्मद असलम और उपाध्यक्ष अहमद सलीम के खिलाफ अविश्वास प्रस्ताव दायर किया है.

सत्तारूढ़ गठबंधन ने कहा है कि कैबिनेट को संसदीय मंजूरी न देना नागरिक सेवाओं में अड़ंगा डालना है.

भारत के सख्त विरोधी रहे हैं मुइज्जू

राष्ट्रपति मोहम्मद मुइज्जू राष्ट्रपति चुनाव प्रचार के दौरान से ही भारत विरोधी रुख अपनाए हुए हैं. वो 'इंडिया आउट' के एजेंडे पर सत्ता में आए और आते ही भारत से कहा कि वो अपने सैनिकों को वापस बुला ले. हाल ही में मुइज्जू सरकार ने भारत को अल्टीमेटम दिया है कि भारत 15 मार्च तक अपने सैनिकों को मालदीव से वापस बुला ले.

कुछ समय पहले ही भारत और मालदीव के बीच लक्षद्वीप बनाम मालदीव को लेकर भी भारी विवाद हुआ. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने दिसंबर के महीने में अपने लक्षद्वीप दौरे की कुछ तस्वीरें और वीडियो सोशल मीडिया पर शेयर की थी जिसपर मालदीव सरकार के तीन उप मंत्रियों ने आपत्तिजनक टिप्पणी कर दी.

मालदीव के मंत्रियों ने लक्षद्वीप को मालदीव के कमतर दिखाने की कोशिश करते हुए आपत्तिजनक कमेंट किया जिसपर भारी विवाद हुआ. इस विवाद को देखते हुए मुइज्जू सरकार को अपने तीनों उप-मंत्रियों को निलंबित करना पड़ा था.

 

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